1500 से अधिक निवासी बीमार, बेहोश होकर गिर रहे लोग 

ग्रेटर नोएडा वेस्ट की इको विलेज-2 में डायरिया का प्रकोप : 1500 से अधिक निवासी बीमार, बेहोश होकर गिर रहे लोग 

1500 से अधिक निवासी बीमार, बेहोश होकर गिर रहे लोग 

Google Photo | सोसाइटी में पहुंची डॉक्टरों की टीम

Greater Noida West : सुपरटेक इको विलेज-2 सोसाइटी में डायरिया के प्रकोप ने लगभग पूरी सोसाइटी को चपेट में ले लिया है। इसकी वजह से 3000 परिवारों वाले इस सोसाइटी में अब तक 1500 से अधिक लोग बीमार हो चुके हैं। जिनमें से 50 से अधिक लोगों को गंभीर स्थिति में अस्पताल में भर्ती कराना पड़ा है। बीमार होने वालों में ज्यादातर बच्चे शामिल हैं। जिन्हें उल्टी, दस्त और पेट दर्द जैसी गंभीर समस्याएं हो रही हैं।

निवासियों का आरोप
सोसाइटी के निवासियों का आरोप है कि यह स्थिति दूषित पानी की आपूर्ति के कारण पैदा हुई है। निवासियों ने बताया कि पिछले सप्ताह सोसाइटी की पानी की टंकियों की सफाई की गई थी। जिसके बाद से लोगों की तबीयत बिगड़ने लगी। रविवार से बीमारी के मामलों में तेजी आई और सोमवार शाम तक स्थिति इतनी बिगड़ गई। कई बच्चों और अन्य निवासियों को अस्पताल ले जाना पड़ा।

स्वास्थ्य विभाग के शिविर में निवासियों का हुजूम
मंगलवार की सुबह 10 बजे बिसरख स्वास्थ्य केंद्र और जिला अस्पताल की टीम ने सोसाइटी में एक चिकित्सा शिविर लगाया। जैसे ही इस शिविर की सूचना फैली, बीमार निवासियों की भीड़ उमड़ पड़ी। इनमें अधिकांश महिलाएं और बच्चे थे। इस शिविर में करीब 350 लोगों का इलाज किया गया। शाम को दो निजी अस्पतालों की टीमों ने भी शिविर लगाकर 200 से अधिक लोगों का इलाज किया।

बेहोश होकर गिरी महिला
स्वास्थ्य शिविर के दौरान टावर बी-4 की निवासी अल्का त्रिपाठी अचानक बेहोश होकर गिर पड़ीं। उन्हें तुरंत डॉक्टरों द्वारा जांचा गया और अस्पताल में भर्ती कराने की सलाह दी गई। अस्पताल में 3 से 9 वर्ष के 10 से अधिक बच्चे भर्ती हैं। 

पानी के नमूने लिए गए
इस गंभीर स्थिति के चलते काफी विभागों के अधिकारी हरकत में आ गए। सीएमओ डॉ.सुनील शर्मा, ग्रेटर नोएडा प्राधिकरण, यूपीपीसीबी, भूगर्भ जल विभाग, मलेरिया विभाग और दादरी तहसील की टीमें सोसाइटी में पहुंचीं। इन्होंने पानी के नमूने लेकर जांच के लिए भेजे। अंडरग्राउंड टैंक में काई जमी होने के कारण बीमारियों का संदेह जताया जा रहा है। इसके अलावा एसटीपी (सीवेज ट्रीटमेंट प्लांट) के पानी के नमूने भी लिए गए हैं। हालांकि, जांच में एसटीपी के पानी में कोई गड़बड़ी नहीं पाई गई।

सोसाइटी में लार्वा मिलने पर जुर्माना
जिला मलेरिया अधिकारी की जांच के दौरान सोसाइटी के बेसमेंट में मच्छरों का लार्वा पाया गया। जिसके चलते बिल्डर पर 10,000 रुपये का जुर्माना लगाया गया है। सोसाइटी में पानी की गुणवत्ता को लेकर चिंता और बढ़ गई है। स्वास्थ्य विभाग की टीम लगातार सोसाइटी के हालात पर नजर बनाए हुए है। सभी बीमार लोगों में उल्टी, दस्त और बुखार जैसे एक समान लक्षण पाए गए हैं। डॉक्टरों का कहना है कि दूषित पानी ही इस बीमारी का मुख्य कारण हो सकता है। पानी के नमूनों की जांच की जा रही है और रिपोर्ट आने के बाद ही आगे की कार्रवाई की जाएगी।

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