Tricity Today | पुलिस कमिश्नर आलोक सिंह और कमलेश सिंह
ग्रेटर नोएडा पुलिस पर शहर के सेक्टर बीटा-वन में रहने वाली 61 वर्षीय बुजुर्ग महिला ने गम्भीर आरोप लगाए हैं। बुजुर्ग ने सेक्टर बीटा-टू कोतवाली पुलिस पर अवैध हिरासत में रखने और मारपीट करने का आरोप लगाया है। शनिवार को यह मामला मीडिया में आया। जिसके बाद पुलिस आरोपों को झूठा बता रही थी। बुजुर्ग महिला के आरोपों को सही बताते हुए सेक्टर के निवासियों और महिलाओं ने वीडियो सोशल मीडिया पर जारी किए हैं। अब रविवार की सुबह इस मामले में गौतमबुद्ध नगर के पुलिस आयुक्त आलोक कुमार सिंह ने जांच का आदेश दिया है। यह जांच पुलिस उपायुक्त (महिला सुरक्षा) वृंदा शुक्ला को सौंपी गई है।
बुजुर्ग महिला का आरोप है कि पड़ोसी महिला की झूठी शिकायत पर पुलिस उनके बेटे को उठाकर ले गई। बुजुर्ग महिला अपने बेटे को छुड़ाने थाने पहुंची तो न केवल बेटे बल्कि उनके साथ भी मारपीट की गई है। जिससे उनके बेटे के कान का पर्दा फट गया है। सिर में गंभीर चोट आई हैं। महिला ने सोशल मीडिया पर अपनी आपबीती का विडियो शेयर किया है। बुजुर्ग ने मुख्यमंत्री और डीजीपी से शिकायत करके आरोपी पुलिसकर्मियों के ख़िलाफ़ कार्रवाई की मांग की है। महिला के समर्थन में कई अन्य महिलाओं ने वीडियो सोशल मीडिया में शेयर किए हैं।
यह है पूरा मामला
ग्रेटर नोएडा के बीटा-एक सेक्टर में 60 वर्षीय कमलेश सिंह परिवार के साथ रहती हैं। महिला ने बताया कि उनके पड़ोस में रहने वाले दंपत्ति का 3 अक्टूबर को आपस में झगड़ा हो गया था। जिसकी शिकायत उन्होंने पुलिस में की। वह दंपत्ति को समझाने के लिए कोतवाली पहुंच गई। लेकिन पड़ोसी महिला को उनके बीच में आना नागवार गुज़रा। पड़ोसी महिला ने बदला लेने के लिए बुज़ुर्ग महिला के बेटे के खिलाफ छेड़छाड़ की शिकायत कोतवाली पुलिस से कर दी। एक महिला दरोगा और दो सिपाही रात को क़रीब 9:00 बजे उनके बेटे को उठाकर थाने ले गए। जब उन्होंने थाने पहुंचकर बेटे को उठाकर लाने का कारण पूछा तो महिला दरोगा ने उनके साथ मारपीट की। उसे अवैध हिरासत में रखा। बुजुर्ग महिला का आरोप है कि पुलिस ने उनके बेटे को बुरी तरह पीटा। जिससे उसके कान का पर्दा फट गया है। सिर में गंभीर चोट आई हैं। महिला ने मुख्यमंत्री और डीजीपी से शिकायत की है। आरोपी पुलिसकर्मियों पर कारवाई की मांग की है।
सीसीटीवी कैमरों की जांच करने की मांग
पीड़ित बुजुर्ग महिला के बेटे ने कहा कि उनके ऊपर लगाए गए सभी आरोप झूठे हैं। उनके घर सीसीटीवी कैमरे लगे हैं। जिसकी जांच करके सच्चाई का पता लग जा सकता है। उन्हें तो यह भी नहीं पता था कि उसे पुलिस ने किस बात के लिए हिरासत में लिया है। पुलिस ने थाने ले जाकर बुरी तरह पीटा है।
विडियो सोशल मीडिया पर आने के बाद शहर के लोगों में गुस्सा
पीड़ित बुजुर्ग महिला ने इस घटना के बाद आपबीती घटना का वीडियो बनाकर सोशल मीडिया पर शेयर किया है। उनका आरोप है कि पुलिस ने बेवजह दबाव बनाने के लिए मारपीट की। घटना को अंजाम दिया है। महिला के विडियो को देखकर लोगों में ग़ुस्सा है। लोग पुलिस की कार्यशैली पर सवाल उठा रहे है।
महिला के आरोपों को झूठा बताती रही पुलिस
इस पूरे प्रकरण पर बात करने के लिए गौतमबुद्ध नगर पुलिस के अफसर तैयार नहीं हुए। पुलिस कमिश्नरेट के ट्विटर हैंडल की ओर से मामले पर जानकारी दी जाती रही। पहले बताया गया कि बुजुर्ग महिला के लड़के की कोई गलती नहीं है। इस कारण उन्हें छोड़ दिया गया है। लेकिन उनके साथ मारपीट क्यों की गई? बुजुर्ग महिला के साथ मारपीट क्यों की गई? इन सवालों के उत्तर नहीं दिए गए। फिर देर रात गौतमबुद्ध नगर पुलिस के ट्वीटर से दो जवाब और आए। बताया गया कि महिला झूठ बोल रही है। आरोप झूठे हैं।
रविवार की सुबह पुलिस कमिश्नर ने दिया जांच का आदेश
अब रविवार की सुबह गौतमबुद्ध नगर पुलिस कमिश्नर के ट्विटर हैंडल की ओर से एक और ट्वीट किया गया है। जिसमें बताया गया है कि इस पूरे मामले पर पुलिस कमिश्नर आलोक कुमार सिंह ने संज्ञान लिया है। पुलिस कमिश्नर ने महिला मामलों की उपायुक्त वृंदा शुक्ला को जांच का आदेश दिया है। वृंदा शुक्ला सभी पक्षों से बात करेंगी। जानकारी लेने के बाद वास्तविकता का पता लगाएंगी। डीसीपी की ओर से रिपोर्ट आने के बाद इस मामले में आगे की कार्यवाही की जाएगी।