गांधीनगर एक्सपो -2024 : मोबिलिटी कॉन्फ्रेंस में रैपिड रेल, दर्शकों को लुभा रहा दिल्ली- गाजियाबाद - मेरठ RRTS कॉरिडोर का मॉडल

Tricity Today | एक्स्पो-2024 में नमो भारत ट्रेन और आरआरटीएस कॉरिडोर का मॉडल।



Ghaziabad/ Gandhinagar News : एनसीआरटीसी ने 25 से 27 अक्टूबर 2024 तक गांधीनगर में चल रहे 17वें अर्बन मोबिलिटी कॉन्फ्रेंस एवं एक्सपो- 2024 में नमो भारत ट्रेन (Rapid Rail) और भारत के पहले आरआरटीएस कॉरिडोर (दिल्ली- गाजियाबाद - मेरठ) की खूबियों को प्रजेंटेशन कर रही है। एक्स्पो-2024 में नमो भारत ट्रेनों के आकार जैसे डिजाइन वाली एक प्रदर्शनी लगायी गई है, जो एक्सपो में पहुंचे रहे लोगों  को बेहद लुभा रही है। पहले आरआरटीएस कॉरिडोर को लेकर लोग खूब सवाल भी कर रहे हैं।

सीएम गुजरात ने ली कॉरिडोर की जानकारी
इस अवसर पर गुजरात के मुख्यमंत्री भूपेंद्र भाई पटेल, गुजरात सरकार के परिवहन और गृह मंत्री हर्ष संघवी, मुख्य सचिव  राज कुमार एवं अन्य गणमान्य अतिथियों ने एनसीआरटीसी स्टॉल का दौरा किया। एनसीआरटीसी के एमडी शलभ गोयल ने स्टॉल पर अतिथियों का स्वागत किया। एमडी ने मुख्यमंत्री को दिल्ली और मेरठ के बीच तैयार किए जा रहे नए जमाने के अत्याधुनिक आरआरटीएस कॉरिडोर और इसकी प्रगति के बारे में जानकारी दी।

सार्वजनिक परिवहन को मिलेगा बढ़ावा
उन्होंने मुख्यमंत्री को अवगत कराया कि कैसे आरआरटीएस सेमी हाई स्पीड वाला एक क्षेत्रीय गतिशीलता समाधान है, जो एनसीआर में मेट्रो और बस सेवाओं को भी इससे जोड़ रहा है, जिससे सार्वजनिक परिवहन के उपयोग को बढ़ावा मिलेगा। आरआरटीएस, यात्रियों को कम समय में अधिक दूरी तय करने में सक्षम बनाते हुए पहुंच और सुविधा दोनों को बेहतर बनाने में सहयोग कर रहा है। इससे रोजगार, शिक्षा, स्वास्थ्य सेवा और आवास के अवसरों की संख्या बढ़ेगी।

मोबि‌लिटी में पंख लगाएगा मल्टी मॉडल इंटीग्रेशन
इस सम्मेलन के एक तकनीकी सत्र में, श्री गोयल ने बताया कि एनसीआरटीसी ने आरआरटीएस परियोजना को अन्य मौजूदा जन परिवहन प्रणालियों के साथ व्यापक स्तर पर मल्टीमॉडल इंटीग्रेशन के तहत कनेक्ट पर ध्यान केंद्रित किया है, जिससे नेटवर्कों का एक व्यापक नेटवर्क तैयार हो रहा है, सवारियों की संख्या में सुधार हो रहा है और दीर्घकालिक स्थिरता सुनिश्चित हो रही है। इसके साथ ही उन्होंने बताया कि एनसीआरटीसी का डीएमआरसी और आईआरसीटीसी के साथ हाल ही में हुआ करार, यात्रियों को नमो भारत, दिल्ली मेट्रो और भारतीय रेलवे के लिए क्यूआर-कोड टिकट बुक करने की सुविधा प्रदान करता है, जिसकी मदद से यात्री एक ही ऐप से टिकट जनरेट कर रहे हैं।

इंटीग्रेशन में एनसीएमसी कार्ड की भी भूमिका
एक्स्पो में एनसीआरटी के स्टॉल को मॉडल और सूचना पैनलों से सुसज्जित किया गया है, जिसमें आरआरटीएस कॉरिडोर पर यात्री-केंद्रित सुविधाओं और नमो भारत ट्रेनों की विशेषताओं पर प्रकाश डाला गया है। जिसमें विशेष तौर पर दर्शाया गया कि नमो भारत ट्रेनों में निर्बाध यात्रा के लिए नेशनल कॉमन मोबिलिटी कार्ड (एनसीएमसी) को अपनाएं और अन्य पारगमन प्रणालियों तक पहुँचने के साथ ही विभिन्न जगहों पर ख़रीदारी के लिए एनसीएम कार्ड से भुगतान की सुविधा का भी लाभ उठाया जा सकता है।

गुजरात में हो रहा नमो भारत ट्रेनों का निर्माण
"मेक इन इंडिया" और "आत्मनिर्भर भारत" पहलों के तहत नमो भारत ट्रेनों का निर्माण गुजरात के सावली में किया जा रहा है। इस एक्स्पो में प्रदर्शित की गई अग्रणी विशेषताओं में आरआरटीएस के बुनियादी ढांचे पर चलने वाली भारत की पहली मेरठ मेट्रो और ईटीसीएस लेवल 2 सिग्नलिंग सिस्टम शामिल हैं। अन्य मुख्य आकर्षणों में स्वदेशी रूप से विकसित प्लेटफ़ॉर्म स्क्रीन डोर और स्थानीय रोजगार को बढ़ावा देने में सहयोग के लिए एनसीआरटीसी की प्रतिबद्धता शामिल है, जिसके तहत अब महिलाएँ नमो भारत ट्रेनों के संचालन के प्रबंधन में सबसे आगे हैं।

साहिबाबाद से संचालन का एक वर्ष पूरा हुआ
आरआरटीएस कॉरिडोर ने हाल ही में संचालन का एक वर्ष पूरा किया है, साहिबाबाद से मेरठ साउथ तक नौ स्टेशनों को जोड़ने वाले 42 किलोमीटर के खंड पर 40 लाख से अधिक यात्रियों को सेवा प्रदान की गई है। वहीं साहिबाबाद से न्यू अशोक नगर (दिल्ली) खंड को जोड़ने के साथ ही इस कॉरिडोर की लंबाई 54 किलोमीटर तक बढ़ जाएगी, जिसमें आनंद विहार और न्यू अशोक नगर जैसे प्रमुख स्टेशन शामिल होंगे। इस खंड में नमो भारत ट्रेनों का संचालन आरंभ होने से कनेक्टिविटी और बेहतर होगी।

अन्य खबरें